दो दिन से शुरू हुआ मोनसुन सत्र विवादोमें घिर गया है। दो दिन से लोकसभामें हंगामा हो रहा है। खास करके टिकाकरण में लिपापोती, कृषी कानून और महंगाई के बीचमें तो सरकाग घिरी हुई ही थी लेकिन अब पेगासस फोन हेकिंग मामलाभी सुर्खियोमें आ गया है। ये हंगामे के बीच तृणमुल सांसद ओब्रायनने कहा है के सांसद, पत्रकार, विपक्षी नेता और तृणमुल महासचिव अभिषेक बेनर्जीके फोन हेक होने के मुद्दे पर जब तक बहस नहीं होती तब तक लोकसभा की कार्यवाही चलने नहीं देंगे। उन्होने गांधी प्रतिमाके पास प्रदर्शन करते हुए कहा की राज्यसभा भी हम चलने नहीं देंगे। सब से पहेले पेगासस पर चर्चा होनी चाहीए नहीं तो 13 अगस्त तक संसद नहीं चलेगी।

तो दूसरी तरफ स्वास्थय मंत्री मनसुख मांडवियाने राज्यसभामें कहा की हमारी सरकार हमेशा से ये कहती आई है की कोरोना जैसे संकट को राजनीतिका रंग नहीं देना चाहीए। मोदीभी कह चूके है की जब 130 करोड भारतीय एक कदम आगे बढायेंगे तो देश 130 करोड कदम आगे चल शकता है।अब तो ये समय है की सभी राज्य सरकार को सर्वसंमति से संकल्प लेना चाहिए की हम तीसरी लहर आने ही नहीं देंगे।कांग्रेस सांसद आनंद शर्माने कहा की हमे अपने वैज्ञानिको, चिकित्सको, पैरामेडिक्स और वेक्सिन उत्पादको पर गर्व है। लेकिन खेद इस बात का है की भारत को उसकी वेक्सिनके प्रोड्क्शन के लिए आज भी नहीं पहेचाना जाता है। 1990 के दशकमें ही अपना देश वेक्सिनका सबसे बडा उत्पादक बन गया था। सीरम की स्थापना भी 1960में हुई थी। लेकिन हालमें देशमें टिकाकरण की जो स्थिति है वो अच्छी नहीं कही जा शकती।